प्रात:काल था। आषढ़ का पहला दौंगड़ा निकल गया था। कीट-पतंग चारों तरफ रेंगते दिखायी देते थे। तिलोत्तमा ने वाटिका...
Archive for category: प्रेमचंद
शंखनाद- प्रेमचंद की कहानियाँ
Hindi, कहाँनिया, नया ताज़ा, प्रेमचंद, Premchand, Premchand kahaniya, Premchand Short Stories, 0भानु चौधरी अपने गॉँव के मुखिया थे। गॉँव में उनका बड़ा मान था। दारोगा जी उन्हें टाटा बिना जमीन...
पंच परमेश्वर- प्रेमचंद की कहानियाँ
Hindi, कहाँनिया, नया ताज़ा, प्रेमचंद, Premchand, Premchand kahaniya, Premchand Short Stories, 0जुम्मन शेख अलगू चौधरी में गाढ़ी मित्रता थी। साझे में खेती होती थी। कुछ लेन-देन में भी साझा...
बड़े घर की बेटी- प्रेमचंद की कहानियाँ
Hindi, कहाँनिया, नया ताज़ा, प्रेमचंद, Premchand, Premchand kahaniya, Premchand Short Stories, 0बेनीमाधव सिंह गौरीपुर गॉँव के जमींदार और नम्बरदार थे। उनके पितामह किसी समय बड़े धन-धान्य संपन्न थे। गॉँव का...
दुर्गा का मंदिर- प्रेमचंद की कहानियाँ
Hindi, कहाँनिया, नया ताज़ा, प्रेमचंद, Premchand, Premchand kahaniya, Premchand Short Stories, 0बाबू ब्रजनाथ कानून पढ़ने में मग्न थे, और उनके दोनों बच्चे लड़ाई करने में। श्यामा चिल्लाती, कि मुन्नू मेरी...
आत्माराम- प्रेमचंद की कहानियाँ
Hindi, कहाँनिया, नया ताज़ा, प्रेमचंद, Premchand, Premchand kahaniya, Premchand Short Stories, 0वेदों-ग्राम में महादेव सोनार एक सुविख्यात आदमी था। वह अपने सायबान में प्रात: से संध्या तक अँगीठी के सामने...